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कलक्ट्रेट के आगे धरना, मांगे मानने पर बनी सहमति

बाड़मेर. बाड़मेर के चौहटन स्थित बूढ राठौड़ान गांव में प्रतापसिंह राजपुरोहित की एक जुलाई को संदिग्ध हालात में मौत के मामले में शुक्रवार को निष्पक्ष जांच कर आरोपियों को सजा दिलाने के लिए जिला कलेक्ट्रेट के आगे राजपुरोहित समाज व अन्य समाजों ने धरना दिया। धरने पर सम्बोधित करते हुए भूरङ्क्षसह राजपुरोहित ने बताया कि उक्त घटना 1 जुलाई की है। जिसके संबंध में 17 जुलाई को राजपुरोहित समाज के लोगों ने प्रशासन को ज्ञापन सौंप कर निष्पक्ष जांच की मांग की। प्रशासन को तीन दिन का समय दिया। लेकिन तीन दिन बाद भी कार्रवाही नहीं होने पर आज धरना देना पड़ा।

प्रतिनिधि मण्डल का गठन

धरना स्थल पर एक प्रतिनिधि मण्डल का गठन किया गया। जिसमें मोहनसिंह महाबार, कैप्टन खुमानसिंह रड़वा, रामसिंह बोथिया, महेंद्रसिंह बालेरा,गोविंदसिंह कालूडी, थानसिंह डोली, लजपतसिंह फतेहगढ़, शंकरसिंह मोहनगढ़, खुमानसिंह लंगेरा शामिल हुए। जो कि अतिरिक्त जिला कलक्टर व पुलिस उप अधीक्षक से मिले।

प्रशासन के सामने यह रखी मांग

प्रतिनिधि मण्डल ने प्रशासन के सामने धरना स्थल पर आकर ज्ञापन लेने समेत जांच अधिकारी को बदलना तथा दस दिनों में निष्पक्ष जांच की जाए। प्रतिनिधि मण्डल से बात के बाद अतिरिक्त जिला कलक्टर, पुलिस उपाधिक्षक, अतिरिक्त पुलिस अधीक्षक धरने पर आए। तथा धरना स्थल पर अतिरिक्त जिला कलक्टर सुरेन्द सिंह राजपुरोहित ने प्रशासन की बात रखी। जिन पर पहले तो सहमति नहीं बनी लेकिन फिर सभी के एक मत होने पर सहमति बनी।

धरने को सम्बोधित

भूरसिंह लंगेरा, मोहनसिंह महाबार, कैप्टन खुमानसिंह रड़वा, रामसिंह बोथिया, खुमानसिंह सोढा, लूणसिंह झाला, भैरूसिंह रड़वा, गोपालसिंह भंवरिया, डलसिंह गेंहू, शंकरसिंह मोहनगढ़, कुंपसिंह ढोक, खुमानसिंह लंगेरा ने सम्बोधित किया।

सभी मांगे मानी

प्रतिनिधि मण्डल सदस्य रामसिंहं बोथिया व थान सिंह डोली ने बताया कि प्रशासन से सारी मांगे मान ली है। जांच अधिकारी को बदलने के साथ ही दस दिनों में निष्पक्ष जांच करेगें। इसका आश्वासन मिल गया है

Source: Barmer News

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