पीपाड़सिटी (जोधपुर). पंचायत समिति के रियां गांव में ब्लैकमेलिंग से परेशान एक युवक ने अपने कृषि कुएं पर पेड़ से फंदा लगाकर जान दे दी। पुलिस ने मौका स्थल से मृत्यु पूर्व लिखा सुसाइड नोट बरामद किया है।इस मामले में आरोपियों के विरुद्ध आत्महत्या दुष्प्रेरण के अपराध का मुकदमा दर्ज किया है।
पुलिस के अनुसार रियां निवासी तेजाराम मेघवाल देर रात्रि को अपने घर से निकल कर गांव के बाहर कृषि कुएं पर गया और एक पेड़ से फंदा लगाकर अपनी जान दे दी।
सुबह जब उसके परिजन गए तो तेजाराम पेड़ से लटका मिला।इसकी सूचना पर प्रशिक्षु आरपीएस प्रियंका, सहायक उप निरीक्षक घासीलाल मीणा भी मौके पर पहुंचे। इन्होंने मृत्यु पूर्व मृतक की ओर से लिखा सुसाइड नोट जब्त किया। मृतक के शव को राजकीय चिकित्सालय में लाने के बाद पुलिस ने परिजनों की रिपोर्ट पर मुकदमा दर्ज पोस्टमार्टम कराया।
शव उठाने से इनकार
शव के पोस्टमार्टम के बाद परिजनों ने सुसाइड नोट में दर्ज आरोपियों की तत्काल गिरफ्तारी की मांग को लेकर शव उठाने से इनकार कर दिया। परिजनों के साथ रियां के ग्रामीणों ने भी आरोपियों की ओर से मृतक को ब्लैकमेल करने के साथ रुपए के मामले को लेकर अनैतिक दबाब बनाने का आरोप लगाया। मोर्चरी के आगे प्रदर्शन की सूचना मिलने पर पुलिस अधिकारियों ने समझाइस का प्रयास किया लेकिन परिजनों के साथ ग्रामीणों ने भी पीडि़त को न्याय नही मिलने तक शव के अंतिम संस्कार से मना कर दिया।
एसडीएम के आश्वासन पर विवाद थमा
उप जिला कलक्टर शैतानसिंह राजपुरोहित भी अस्पताल पहुंचे। इसके बाद परिजनों, ग्रामीणों की पुलिस अधिकारियों की उपस्थिति में संयुक्त बैठक की गई। इसमें पीडि़त आरोपियों की अनैतिक गतिविधियों से अवगत कराते हुए गिरफ्तारी की मांग पर अड़े रहे।पुलिस उपाधीक्षक हेमंत नोगिया ने भी समझाइश की। इसमें नामजद आरोपियों को गिरफ्तार करने के लिए चौबीस घण्टे का समय देने का प्रशासन ने आग्रह किया।
पूर्व सरपंच गोरधनराम चौधरी, मेघवाल युवा विकास समिति के अध्यक्ष गणपत मेहरा, नानण उपसरपंच देवेन्द्र पाल दिवराया के साथ परिजनों ने प्रशासन व पुलिस को चौबीस घण्टे में आरोपियों की गिरफ्तारी नहीं होने पर आंदोलन की चेतावनी के साथ शव का अंतिम संस्कार करने पर सहमत हो सके।
दबिश कार्रवाई शुरू
प्रशिक्षु आरपीएस प्रियंका, थानाधिकारी राणा, सहायक उपनिरीक्षक मीणा के नेतृत्व में अलग-अलग टीमों ने आरोपियों के संभावित स्थानों पर दबिश अभियान शुरू कर दिया। नोगिया ने प्रशिक्षु आरपीएस प्रियंका को अनुसंधान अधिकारी नियुक्त कर निर्धारित अवधि में आरोपियों को हिरासत में लेने का निर्देश दिए।
Source: Jodhpur