बाड़मेर. दूसरी लहर के दौरान ऑक्सीजन की कमी और अन्य अव्यवस्थाओं को झेल चुका चिकित्सा विभाग कोविड की संभावित तीसरी वेव को लेकर पूरी तैयारी करने में जुटा है। इसके लिए प्रत्येक जिला स्तर पर कोविड संबंधित क्या तैयारियां की जा रही है। इसके लिए प्रत्येक 15 दिन में रिपोर्ट मांग की गई है। इसमें कोविड से जुड़े सभी पहलुओं को ध्यान में रखने का कहा गया है। साथ ही चेक लिस्ट के अनुसार तैयारियों को परखा जाए।
अस्पतालों में आधारभूत ढांचे को बढ़ाने के साथ ऑक्सीजन की आपूर्ति में बढ़ोतरी और आइसीयू बेड की संख्या को बढ़ाने पर सबसे अधिक फोकस करने की तैयारी चल रही है। इसमें सबसे अधिक ऑक्सीजन को लेकर गंभीरता के निर्देश दिए गए हैं।
जिला स्तर पर अलग-अलग होगी जिम्मेदारी
मेडिकल सुविधाओं को लेकर जिला स्तर पर अलग-अलग नोडल अधिकारियों को जिम्मेदारी मिलेगी। इसमें कंट्रोल रूम, बेड, ऑक्सीजन, दवाइयां व उपकरण मैनेजमेंट को देखने के लिए नोडल लगाने होंगे। इसके अलावा एंबुलेस की व्यवस्थाओं और निजी अस्पतालों की सुविधाओं को देखने के भी काम का जिम्मेदार तय करना है।
चिकित्सा संस्थानों में क्या है सुविधाएं
मेडिकल कॉलेज अस्पताल, जिला अस्पताल, उप जिला चिकित्सालय से लेकर पीएचसी व निजी अस्पतालों में कोविड से जुड़ी सुविधाओं में कहां पर कितने बेड, वेेंटिलेटर और ऑक्सीजन के क्या प्रबंध है। इनकी तैयारी की की जानकारी रिपोर्ट में मांगी गई है। साथ ही ऑक्सीजन के सिलेंडर की संख्या के साथ उनकी कैपेसिटी और कहीं प्लांट लगे हैं तो उनकी क्या स्थिति है और ऑक्सीजन बैंक की व्यवस्था भी बतानी होगी।
वेंटिलेटर संचालन आदि के लिए प्रशिक्षित स्टाफ
चिकित्सा संस्थानों में वेंटिलेटर संचालन से लेकर जांच और रेडियोग्राफर्स के प्रशिक्षित स्टाफ की आवश्यकता बताई गई है। इसको लेकर भी जिला स्तर से लेकर अन्य चिकित्सा संस्थानों में व्यवस्थाएं जुटाने के लिए कहा गया है। चिकित्सा विभाग के शासन सचिव ने इसके लिए सभी जिला कलक्टर को पत्र भेजकर तैयारियों की समीक्षा करते हुए नियमित रूप से रिपोर्ट भेजने के लिए कहा है।
Source: Barmer News