बाड़मेर के दिल से जुड़ा गुजरात…5 लाख बाड़मेरी बसे है गुजरात
बाड़मेर पत्रिका.
गुजरात चुनावों के मायने बाड़मेर के लिए भी कम नहीं है। यहां के पांच लाख परिवारों ने गुजरात में रहकर वोट किया है। बाड़मेर के लोगों के लिए रोजगार का बड़ा जरिया गुजरात है। हारी बीमारी और ओद्यौगिक विकास भी सीधा जुड़ा हुआ है। चौहटन, धोरीमन्ना और गुड़ामालानी का आधा इलाका तो गुजरात की संस्कृति को जीता है।
गुजरात से जुड़ाव
– 05 लाख बाड़मेर के लोग गुजरात में रहते है,जहां व्यापार और मजदूरी करते है। परिवार सहित बसे इन लोगों का गुजरात से सीधा जुड़ाव है
– राज्य के छह जिलों की सीमाएं गुजरात से लगती है,इसमें बाड़मेर की सबसे कम सीमा है
– बाड़मेर के बालोतरा में पॉपलीन उद्योग है,इसका जुड़ाव गुजरात के सूरत शहर से है। कपड़े से जुड़े बालोतरा, सिवाना और बाड़मेर के हजारों व्यापारी जुड़े हुए है
-पाक विस्थापित परिवार 1965और 1971 के युद्ध बाद भारत आए तो दो राज्यों गुजरात व राजस्थान में बसे,इनका सीधा जुड़ाव बाड़मेर से है
– मेडिकल सुविधाओं का विस्तार राज्य में होने के बावजूद बाड़मेर का भरोसा अभी भी गुजरात है, लाखों लोग वहां पहुंचते है
– राजस्थान के लिए गुजरात से बड़ा जुड़ाव तेल और गैस से है। बाड़मेर का तेल अभी जामनगर रिफाइनरी जा रहा है।
– ऊंझा में जीरा मण्डी से बाड़मेर सीधा जुड़ा हुआ है,बाड़मेर में उत्पादित कराब 14 अरब का जीरा ऊंझा मण्डी पहुंचता ह
-भटिण्डा-पचपदरा-जामनगर तीनों रिफाइनरी का जुड़ाव सिक्सलेन हाईवे से होगा। यह बड़ा व्यापारिक मार्ग बनने वाला है
रेल सुविधा है बड़ी मांग
– बाड़मेर-जैसलमेर-भाभर रेलवे लाइन बिछाने की बड़ी मांग है जो गुजरात और राजस्थान का जुड़ाव और बढ़ाएगी
– गुजराती पर्यटक बड़ी संख्या में जैसलमेर आते है,इन पर्यटकों के लिए बाड़मेर सेंटर है। गुजराती पयर्टन का लाभ बाड़मेर को मिल सकता है
-धोरीमन्ना में हीरा तराशने के कारीगर है, यह जुड़ाव गुजरात से है। यह उद्योग बाड़मेर में नई ऊंचाइयां दे सकता है
– डेयरी उद्योग गुजरात का बड़ा उद्योग है, गुजरात की तर्ज पर धोरीमन्ना-चौहटन में उद्योग फलफूल रहा है,यह गुजराती मॉडल पर राज्य में लागू हो सकता है
– कच्छ के रण को पर्यटन के लिए विकसित किया गया है,बाड़मेर में रेडाणा का रण भी इस मॉडल पर विकसित हो सकता है
रक्षक है दोनों राज्य
सीमा सुरक्षा बल का कच्छ के रण का इलाका बाड़मेर के बाखासर तक जुड़ा है। दोनों ही राज्य सीमा के रक्षक है और बाड़मेर से जुड़े है। बीएसएफ बाड़मेर गुजरात फ्रंटियर से जुड़ी है
नर्मदा नहर बड़ा वरदान
गुजरात से आने वाली नर्मदा नहर तो बाड़मेर के लिए बड़ा वरदान है। नर्मदा ने धोरीमन्ना और चौहटन इलाके का कायाकल्प किया तो सीमा के गडरारोड़ रामसर की विकट पेयजल समस्या का समाधान भी इसी नहर से होना है।
ताकत झौंकी थी बाड़मेर ने
गुजरात और बाड़मेर के जुड़ाव का ही नतीजा है कि बाड़मेर के कांग्रेस और भाजपा दोनों द लों के नेताओं ने यहां ताकत झौंकी थी। संगठन और सत्ता से जुड़े नेताओं ने वहां पहुंचकर बाड़मेर-जैसलमेर ही नहीं पूर मारवाड़ के लोगों को वोट के लिए अपील की।
गुजरात-बाड़मेर बड़ा नाता
गुजरात और बाड़मेर का बड़ा नाता है। बाड़मेर से जितना दूर जोधपुर है,उतनी दूरी पर गुजरात शुरू हो जाता है। रोजगार और स्वास्थ्य सेवा के लिए डीसा, धानेरा, मेहसाणा, अहमदाबाद हजारों लोग आते है। गुजरात के लोग भी बाड़मेर से जुड़े है। जो बाड़मेर से यहां आकर बसे है वे राजनीति में भी गहरी पैठ रखते है। इसलिए गुजरात के चुनाव नतीजे बड़े मायने रखते है। स्थिर सरकार ही गुजरात को विकास दे रही है, इससे राजस्थान से बसे लोगों का भी विकास हो रहा है।-महंत रूपपुरी रामपुरा, डीसा
बालोतरा-गुजरात व्यापारिक रिश्ता
बालोतरा का व्यापारिक पांच दशक से अधिक समय से है। कपड़ा उद्योग की वजह से सूरत में व्यापारी आकर बसे। हमें पचास साल हो गए। यहां व्यापार के साथ राजनीति की तो गुजरात ने आगे बढ़ाया। चुनाव बाद गुजरात का विकास होता है तो नि:संदेह बाड़मेर को भी लाभ मिलता है।- किशोर बिंदल,महामंत्री सूरत भाजपा
Source: Barmer News