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बाड़मेर @ पत्रिका. रबी की फसलों पर पाला भारी पड़ गया। खड़ी फसलों में दो दिन में ही पाले ने कहर ढाया और अरंडी को नुकसान पहुंचाया। वहीं, जीरा, ईसबगोल, रायड़ा की फसलों पर भी कहीं ज्यादा तो कहीं कम असर पड़ा है। किसानों के मुंह आया निवाला पाले के चलते छीनता नजर आ रहा है।
पिछले कुछ दिनों से मौसम का मिजाज बदला है। तेज सर्दी का असर थार में नजर आया और देर रात से सुबह तक पाला पड़ रहा है। पाले के चलते जहां तापमान गिरा तो रबी की फसलों को काफी नुकसान पहुंचा है। जिले के शिव क्षेत्र में भयंकर पाले से अरण्डी की अस्सी फीसदी, रायडे की पचास फीसदी, सरसों की पचास फीसदी, इसबगोल की 50 फीसदी फसल जल गई। शिव, अंबाबाड़ी ,केसरपुरा, जोरानाडा ,मल्लीनाथ नगर, पिथोरा नगर, बलाई ,फतेह नाडा, हकीम की बस्ती, सवाई सिंह की बस्ती, नींबासर ,आगोरिया सहित दर्जनों गांव में फसलें चौपट हो गई। जिले के चौहटन, रामसर, बाड़मेर, बायतु बेल्ट में भी पाले से नुकसान की आशंका जताई जा रही है।
अरंडी पर बरपा कहर- पाले का सबसे ज्यादा असर अरंडी की फसल पर पड़ा है। इसमें अस्सी फीसदी तक नुकसान हुआ है। गौरतलब है कि अरंडी की फसल साल में दो बार कमाई देती है। ऐसे में इसमें नुकसान होने पर किसानों के पूरे साल की मेहनत पर पानी फिर गया है।
काफी नुकसान हुआ पाले के चलते रबी की फसलों को काफी नुकसान पहुंचा है। अरंडी की फसल सबसे ज्यादा खराब हुई है।- भोमसिंह बलाई, युवा नेता
पाले का असर- पाले का असर फसलों पर पड़ा है। अरंडी पर ज्यादा असर नजर आ रहा है। अन्य फसलों में भी थोड़ा बहुत नुकसान हुआ है। – डॉ. प्रदीप पगारिया, कृषि वैज्ञानिक
यह है रबी की बुवाई
अरंडी- 35000 हैक्टेयर
जीरा 200000 हैक्टेयर
ईसबगोल 100000 हैक्टेयर
रायड़ा 30000 हैक्टेयर
तारामीरा 2000 हैक्टेयर
चना 4000 हैक्टेयर
अन्य 4000
कुल 375000 हैक्टेयर

Source: Barmer News

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