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मूलाराम सारण.
बाड़मेर. मॉडिफाइड लोक डाउन के बाद दुकानों के खुलने की छूट में शामिल पुस्तक भंडार, मोबाइल रिचार्ज को पंखे कूलर के लिए एक इलेक्ट्रॉनिक शॉप की कुछ दुकानें खुली है। वही जो दुकानें खुली है, वहां पर भी ग्राहकी नहीं के बराबर है। इसके चलते छूट मिलने के बाद भी बहुत ही कम व्यापारियों ने दुकानें खोली है। सभी व्यापारियों की अपनी-अपनी समस्याएं भी हैं। उनका मानना है कि दुकान खोलने के बाद भी व्यापार प्रभावित हो रहा है।

– पेन पेंसिल और रजिस्टर की बिक्री

पुस्तकों की दुकानें खुलने के बाद यहां पर बिक्री नहीं हो रही है। विक्रेता बताते हैं कि अधिकांश स्कूलों की ऑनलाइन कक्षाएं चल रही है। जिसमें केवल रजिस्टर और पेंसिल की जरूरत रहती है। इस कारण स्टेशनरी में केवल इनकी बिक्री हो रही है। लेकिन सामान्य दिनों की तरह नहीं है। पुस्तक विक्रेताओं का कहना है कि लॉक डाउन के कारण स्कूलें नहीं खुलने से बिक्री का ग्राफ 20 फीसदी ही रह गया है। इसके अलावा उनका कहना है कि स्कूलों की आधी किताबें चेंज हो चुकी है। इस वर्ष की किताबें अभी तक नहीं आई है।

– छूट से मिली राहत

नए सत्र से आधी से अधिक पुस्तकें बदलने की जानकारी पुस्तक विक्रेताओं को मिली है। वहीं नई किताबें भी अब तक नहीं आई है। पुस्तक विक्रेताओं को इस बात की राहत है कि छूट मिलने से उनके गोदाम और दुकान की सार -संभाल हो रही है। एक महीने तक सब कुछ बंद होने से सामान के खराब होने की चिंता सता रही थी।

– नवलाराम चौधरी, पुस्तक विक्रेता

– दिन में कुल 10-12 ग्राहक

मोबाइल रिचार्ज की दुकान छूट मिलने के बाद खुलने लगी है। लेकिन यहां पर भी नहीं के बराबर है। एक दुकानदार ने बताया कि सुबह से दोपहर तक 3 लोगों ने रिचार्ज करवाया है। इसके अलावा विक्रेता का कहना है कि लॉक डाउन में दुकान खोलने के बाद नया मोबाइल लेने कोई नहीं आया। ईयर फोन की बिक्री जरूर हो रही है।

– लोग स्वयं कर रहे हैं रिचार्ज

कई तरह की एप और ई-कॉमर्स कंपनियों के प्लेटफार्म पर भी मोबाइल रिचार्ज की सुविधाएं मिलती हैं। इसलिए बहुत ही कम लोग अपने फोन में रिचार्ज करवाने दुकानों पर आते हैं। इसके अलावा इनका कहना है कि बहुत ही कम लोग रिचार्ज व कुछ खरीदारी के लिए आ रहे हैं। अब छूट मिली तो दुकान की देखरेख जरूरी हो रही
है।

– राकेश कुमार, मोबाईल स्टोर व रिचार्ज

सभी ने नहीं खोली दुकानें : बाड़मेर में कूलर -पंखों की इलेक्ट्रॉनिक्स की दुकानें है। इसमें कई तो रिहायशी इलाकों में भी है। लेकिन बहुत ही कम लोगों ने दुकानें खोली है।

– ज्यादा जरूरत वाले ही ले जाते हैं पंखे – कूलर

गर्मी होने पर लॉक डाउन में पंखे -कूलर के लिए इलेक्ट्रिक की दुकानों खोलने की छूट मिली है। लेकिन यहां पर भी बहुत ही जरूरत वाले ग्राहक आ रहे है। लॉक डाउन के कारण सामान्य जैसी ग्राहकी अभी नहीं है सुबह से लेकर शाम तक 8:10 तक ही आते हैं इसी दुकान खोलें 2 दिन हो गए हैं। सुबह से लेकर शाम तक 8 -10 ग्राहक ही आते है।

– 10 फीसदी रह गई ग्राहकी

दुकान खोले दो दिन हो गए है। लेकिन ग्राहकी 10 फीसदी ही है। जिसको ज्यादा जरूरत होती है गर्मी में वह पंखे – कूलर ले जा रहे है।

– सुमित चौपडा, इलेक्ट्रॉनिक स्टोर

साधन की प्रमुख समस्याएं :

गर्मी से राहत के लिए कोई कूलर व पंखा यहां लेता है तो उसे कैसे ले जाएं, यह सबसे बड़ी समस्या है। कूलर को ले जाने के लिए कोई साधन नहीं है। ऐसे में लोग छोटे कूलर व पंखे तो बाइक आदि पर ले जाते हैं। फिलहाल बड़े कूलर ले जाने के लिए लॉक डाउन खुलने का इंतजार कर रहे हैं।

Source: Barmer News

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